Saturday, 13 February 2016

वो बाप अपने अश्को से यूँ वजू कर लेता हैं।

बेटी के फटे लिबास को, वो रफू कर लेता हैं
मचलती कुछ हवाओं को, यूँ काबू कर लेता हैं
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आँखे छलक उठती हैं जब हाथ फैलाए उसकी
वो बाप अपने अश्को से, यूँ वजू कर लेता हैं
~ अनामिका

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